Class 8 Hindi Lesson 10: गोकुल लीला – Question Answer
पाठ-10
गोकुल लीला
पाठ से :
1. सही उत्तर में ✅ निशान लगाओ (थार फिन्नायाव ✅ सिन हो) :
(क) श्रीकृष्ण घुटनों के बल चलते हुए –
(अ) रो रहा था
(आ) हँस रहा था
(इ) किलकारी कर रहा था ✅
(ई) कुछ बोल रहा था
उत्तरः (इ) किलकारी कर रहा था
(ख) नंद का आँगन
(अ) मणियों से जड़ा हुआ था ✅
(आ) मिट्टी से लीपा हुआ था
(इ) संगमरमर का बना था
(ई) ईंट का बना हुआ था
उत्तरः (अ) मणियों से जड़ा हुआ था
(ग) कृष्ण के मुँह पर मक्खन लगा हुआ था, क्योंकि-
(अ) ग्वाल बालकों ने उसके मुँह पर मक्खन लगा दिया था।✅
(आ) खिलाते समय माँ के हाथों से मक्खन लगा था।
(इ) वह मक्खन चुराकर खा रहा था।
(ई) उसके साथ और भी बच्चे थे, जिनके कारण चोरी करना संभव नहीं था।
उत्तरः (अ) ग्वाल बालकों ने उसके मुँह पर मक्खन लगा दिया था।
6. उत्तर दो :
(क) नन्द के आँगन में कृष्ण किसका प्रतिबिंब पकड़ने के लिए दौड़ता था?
(नन्दनि सिथलायाव, कृष्णआ सोरनि सायखंखौ हमनो खारदोंमोन?)
उत्तरः नन्द के आँगन में कृष्ण अपने ही प्रतिबिंब (परछाईं) को पकड़ने के लिए दौड़ता था।
(ख) कृष्ण के झूठ पकड़े जाने पर यशोदा ने क्या किया?
(कृष्णनि थगायनायखौ हमजानायाव यशोदाया मा खालामखो?)
उत्तरः कृष्ण के झूठ पकड़े जाने पर यशोदा ने हाथ से छड़ी फेंक दी और मुस्कुरा कर उसे गले लगा लिया।
(ग) यशोदा बार-बार नंद को क्यों बुलाती है?
(यशोदाया मानो बार-बार नन्दखौ लिंहरबाय थायो?)
उत्तरः कृष्ण की बाल-अवस्था को देखकर यशोदा को अत्यंत आनंद और सुख मिलता है, इसलिए वह नंद को बार-बार बुलाती हैं ।
(घ) माता यशोदा बालक कृष्ण को किस तरह दूध पिलाती है?
(बिमा यशोदाया गथ'कृष्णखौ माबोरै गाइखेर दौयो?)
उत्तरः माता यशोदा बालक कृष्ण को प्यार से गोद में उठाती हैं, और फिर आँचल से ढककर उन्हें दूध पिलाती हैं।
(ङ) किलकारी मारकर हँसते हुए कृष्ण का मुख कैसा दिखता है ?
(मिनिस्लुनानै मिनिनाय कृष्णनि मोखांखौ मा बायदि नुयो?)
उत्तरः किलकारी मारकर हँसते हुए कृष्ण के मुख में उनके दूध के दो दाँत दिखाई देते हैं।
(च) 'मैया मैं नहिं माखन खायौ'- इसके समर्थन में कृष्ण क्या सफाई देता है?
('मैया मैं नहिं माखन खायौ'-कृष्णआ बेनि मददआव मा बुंफोरथि होयो?)
उत्तरः कृष्ण सफाई देते हुए कहते हैं कि दोस्तों ने शरारत में उनके मुँह पर माखन लगा दिया है, और यह भी कहते हैं कि उनके नन्हे हाथ ऊँचे रखे माखन के बर्तनों तक पहुँच ही नहीं सकते।
(छ) बालक कृष्ण ने माखन-चोरी के आरोप से बचने के लिए क्या चालाकी की?
(खदिया कृष्णआ माखन खावनायनि दायनिफ्राय बारग'नो थाखाय मा सोलो खालामदोंमोन?)
उत्तरः बालक कृष्ण ने माखन चोरी के आरोप से बचने के लिए अपने साथी पर इल्जाम लगाया की उन्होंने उसके मुँह में माखन लपेट दिया है। और कहा कि उसके नन्हे-नन्हे हाथ तो माखन की बर्तनों तक पहुंच ही नहीं पाते हैं। चाहे तो वह खुद ही देख ले। यह कहते ही मुंँह में लगे दधि को पोंछ हाथ में पकड़े दोना को पीछे छुपा लेता है।
(ज) क्या बालक कृष्ण माखन-चोरी के आरोप से बच पाया? यदि नहीं तो माता यशोदा ने उसके साथ कैसा व्यवहार किया?
(माखन खावनायनि दायनिफ्राय गथ'सा कृष्णआ बारग'नो हादोंमोन नामा? बारगआखैब्ला बिमा यशोदाया बिखौ माबादि आखु दिन्थिदोंमोन ? )
उत्तरः बालक कृष्ण माखन चोरी के आरोप से बच नहीं पाया। जिस भोलेपन से कृष्ण ने अपने निर्दोष होने का प्रयास किया , उसे देख यशोदा का मन मोहित हो गया और अपने हाथ से छड़ी फेंक दी और मुस्कुरा कर उसे अपने गले से लगा लिया।
(झ) घुटनों के बल चलते हुए बालक कृष्ण के रूप-सौंदर्य का अपने शब्दों में वर्णन करो।
(हान्थुजों थाबायनाय गथ'कृष्णनि समायना नुथायखौ गावनि रावाव बरनाय।)
उत्तरः घुटनों के बल चलते हुए बालक कृष्ण का सौंदर्य अत्यंत मनमोहक है। उनका शरीर स्वर्ण के समान चमकता है और जब वह नंद बाबा के मणियों से जड़े आँगन (कनक-भूमि) पर घुटनों और हाथों के बल चलते हैं, तो उनकी परछाईं ज़मीन पर पड़ती है।
इस अनुपम दृश्य में, उनके हर कदम और हाथ की परछाईं ऐसी लगती है जैसे धरती ने उनके लिए कमल का आसन सजा दिया हो। जब वह चलते हुए किलकारी मारकर हँसते हैं, तो उनके मुख में दूध के दो छोटे दाँत झलकते हैं, जिससे उनका मुख-सौंदर्य और भी बढ़ जाता है। इस बाल-लीला को देखकर माता यशोदा और नंद बाबा अत्यंत आनंदित होते हैं।
